उत्तराखंड के मैदानी इलाकों में गर्मी से लोग परेशान हैं जिसके चलते बिजली की खपत में अप्रत्याशित रूप से बढ़ोत्तरी हुयी है, दैनिक विद्युत मांग का रिकार्ड 60 मिलियन यूनिट का आंकड़ा पार कर चूका है जबकि इससे पहले कभी बिजली की दैनिक मांग 56 एमयू से अधिक नहीं पहुंची।
भले ही गर्मी में ग्लेशियर पिघलने से नदियों का जल स्तर बढ़कर विद्युत उत्पादन में इजाफा करा रहा हो लेकिन माँगा के सामने यह बढ़ोत्तरी भी काम नहीं आ रही है। ऊर्जा निगम के कई प्रयासों के बाद भी मांग के सापेक्ष विद्युत उपलब्धता न होने से कटौती की मार झेलनी पड़ रही है, और उनकी मुश्किलें आये दिन बढ़ती ही जा रही हैं, ऐसे में आगामी दिनों में प्रदेश में बिजली कटौती लोगों को परेशान कर सकती है।